रायपुर
छत्तीसगढ़ में पिछले कुछ दिनों से यह भ्रामक खबर फैलायी जा रही है कि मुख्यमंत्री बदले जा रहें है जबकि पार्टी की ओर से पहले ही इस बात को खारिज किया जा चुका है। फिर भी बीच-बीच में यह बातें निकल आती है,आखिर बड़ा सवाल है कि यह फेक न्यूज फैला कौन रहा है? इस फेक न्यूज में यहां तक बताया जा रहा है कि प्रदेश कांग्रेस प्रभारी पी एल पुनिया ने इस बात के संकेत दे दिए हैं। जबकि हकीकत यह है कि संगठनात्मक कामकाज के सिलसिले में वे इन दिनों रायपुर पहुंचे हुए हैं। यह अलग बात हैं कि संयोग से 17 जून को इस सरकार के ढाई साल पूरे हो रहे हैं। शासन के एक वरिष्ठ मंत्री का मुख्यमंत्री के रूप में नाम लिया जा रहा है। गंभीर बात यह है कि दो बड़े न्यूज चैनल आज तक व आईबीसी 24 के स्क्रीन शाट पर यह फर्जी न्यूज फैलाया जा रहा है। दोनों ही न्यूज चैनलों के प्रबंधन ने इसका खंडन कर दिया है।
वहीं छत्तीसगढ़ स्टेट फेक न्यूज कंट्रोल एंड स्पेशल मॉनिटरिंग सेल ने भी इसे फेक न्यूज कहा है। ट्वीट कर बताया गया कि ये खबर इन दोनों ही चैनलों के द्वारा जारी नहीं की गई है। आज तक के भोपाल कार्यालय के हेमेंद्र शर्मा ने कहा है कि ये खबर न तो उनके चैनल में चली है और न ही वेवसाइट या उनके किसी अन्य प्लेटफार्म पर है। अत: यह फेक न्यूज है, जिसका आज तक से कोई लेना देना नहीं है।
दरअसल पिछले कुछ दिनों से सोशल मीडिया में ढाई-ढाई साल में नेतृत्व परिवर्तन को लेकर अफवाहें उड़ायी जा रही थी। दावा ये किया जा रहा था कि 17 जून को ढाई साल पूरे होने पर नेतृत्व परिवर्तन हो जायेगा। उसी तर्ज पर सुनियोजित तरीके से अफवाह को गर्म करने न्यूज चैनलों का कथित स्क्रीन शॉट भी वायरल किया गया। अलग-अलग ब्रेकिंग प्लेट में ना सिर्फ मुख्यमंत्री बदलने के संकेत दिये गये बल्कि सिंहदेव के नेतृत्व में लामबंदी की बात भी लिख दी गयी थी। अब सबसे बड़ा सवाल यह उठ रहा है कि आखिर क्यों नहीं शासन के तंत्र इस फेक न्यूज फैलाने वालों तक पहुंच पा रही है?
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