21 जून से रात 9 बजे से सुबह 7 बजे तक रहेगा कर्फ्यू, कोविड प्रोटोकॉल के साथ खुलेंगे रेस्टोरेंट व मॉल


लखनऊ
यूपी में कोरोना संक्रमण से बेहतर होते हालात को देखते हुए कोरोना कर्फ्यू से राहत दी गई है। 21 जून से कोरोना कर्फ्यू रात नौ बजे से सुबह सात बजे तक प्रभावी रहेगा। वहीं, कोविड प्रोटोकॉल के अनुपालन के साथ रेस्टोरेंट व मॉल को 50 फीसदी क्षमता के साथ खोला जा सकेगा। इसी तरह, पार्क, स्ट्रीट फूड आदि के संचालन की अनुमति भी दी जाएगी। इन स्थलों पर कोविड हेल्प डेस्क की स्थापना अनिवार्य होगी। वहीं, साप्ताहिक कर्फ्यू पहले की तरह ही जारी रहेगा।

ये आदेश प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मंगलवार को टीम-9 के साथ हुई बैठक में दिए। उन्होंने कहा कि कोरोना की दूसरी लहर कमजोर पड़ी है पर खत्म नहीं हुई है अत: सावधानियां बरतें।

बैठक में मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में कोरोना महामारी की स्थिति हर दिन के साथ और नियंत्रित होती जा रही है। वायरस अब कमज़ोर पड़ चुका है, लेकिन संक्रमण का खतरा अब भी बना हुआ है। बीते 24 घंटों में 2,57,135 सैंपल जांचे गए। इसी अवधि में संक्रमण के 340 नए केस सामने आए हैं और 1,104 मरीज कोरोना संक्रमण से मुक्त हुए हैं। इससे पहले, 12 मार्च को लगभग ऐसी ही स्थिति थी।

वर्तमान में 7,221 केस एक्टिव हैं। बीते 24 घंटों में कुल पॉजिटिविटी दर मात्र 0.1% रही, जबकि रिकवरी दर 98.3% हो गई है। प्रदेश में अब तक 05 करोड़ 38 लाख सैंपल टेस्ट हो चुके हैं। कोरोना महामारी के बीच अब तक 16 लाख 73 हजार  प्रदेशवासी कोविड संक्रमण से मुक्त हो चुके हैं।

मुख्यमंत्री ने निर्देश दिया कि बच्चों के लिए उपयोगी पल्स ऑक्सीमीटर की पर्याप्त उपलब्धता सुनिश्चित कराई जाए। हमारी एमएसएमई इकाइयां, चाइल्ड पल्स ऑक्सीमीटर के विनिर्माण की दिशा में अच्छा सहयोग कर सकती हैं। संबंधित विभाग द्वारा एमएसएमई इकाइयों से संपर्क कर इस दिशा में प्रयास शुरू किए जाएं।

उन्होंने कहा कि आने वाले कुछ माह बच्चों के स्वास्थ्य के दृष्टिगत संवेदनशील हैं। बरसात का मौसम शुरू हो रहा है। संचारी रोग, डेंगू, इंसेफेलाइटिस, चिकनगुनिया आदि की समस्या बढ़ने की आशंका है। विशेषज्ञों ने कोविड की तीसरी लहर की आशंका भी जताई है। ऐसे में बच्चों की स्वास्थ्य सुरक्षा के लिए सभी जरूरी प्रबंध किए जा रहे हैं। अभिभावकों को भी विशेष सावधानी बरतने की जरूरत है।इंसेफेलाइटिस रोकथाम के लिए 'दस्तक' अभियान के साथ-साथ संचारी रोगों से बचाव के लिए विशेष जागरूकता अभियान संचालित किए जाएं।

उन्होंने कहा कि कोविड -19 की संभावित तीसरी लहर से बचाव के लिए सभी जरूरी प्रबंध किए जा रहे हैं। इसी कड़ी में 18 वर्ष से कम आयु के बच्चों के लिए घर-घर मेडिकल किट वितरण का विशेष कार्यक्रम मंगलवार से प्रारंभ किया गया है। यह अत्यंत महत्वपूर्ण कार्यक्रम है। जिलों में प्रभारी मंत्रीगणों द्वारा निगरानी समितियों को दवाई-किट प्रदान कराया जाए। निगरानी समितियां जब दवाई-किट दें तो लाभार्थी का नाम-पता फोन नंबर आदि विवरण भी प्राप्त करें। सीएम हेल्पलाइन के माध्यम से लाभार्थियों से संपर्क कर बच्चों की सेहत की जानकारी ली जाए

बच्चों के लिए घर-घर मेडिकल किट वितरण का विशेष अभियान सुचारू रूप से संचालित किया जाए। पहले 50 लाख से अधिक बच्चों को निःशुल्क दवाई किट वितरित की जाएगी। 18 वर्ष से कम आयु के कोविड-19 के लक्षण युक्त बच्चों को चार वर्गों (0-1 वर्ष, 1-5 वर्ष, 5-12 वर्ष तथा 12-18 वर्ष) में विभाजित किया गया है। प्रत्येक वर्ग हेतु अलग-अलग प्रकार की दवाई किट तैयार की गई है।

प्रदेश में कोविड संक्रमण की स्थिति नियंत्रण में है। स्थिति सामान्य हो रही है, लेकिन हमें यह समझना होगा कि वायरस कमजोर हुआ है, खत्म नहीं हुआ। संक्रमण कम हुआ है, पर जरा सी लापरवाही संक्रमण को फिर बढ़ा सकती है। सभी लोग मास्क, सैनिटाइजेशन, सोशल डिस्टेंसिंग जैसे कोविड बचाव के व्यवहार को जीवनशैली में शामिल करें। बहुत जरूरी हो तभी घर से बाहर निकलें। भीड़ से बचें। पुलिस बल सक्रिय रहे।

सभी मेडिकल कॉलेजों में 100-100 बेड के पीआईसीयू स्थापित किये जाने की कार्रवाई तेजी से पूरी की जाए। इसके साथ 50 बेड का एनआईसीयू भी हों। इसी तरह जिला अस्पताल और सीएचसी स्तर पर भी मिनी पीकू स्थापित किए जा रहे हैं। प्रभारी मंत्रीगणों द्वारा इसका निरीक्षण किया जाए।

The Naradmuni Desk

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