भोपाल
रेरा की तर्ज पर अब मध्यप्रदेश किराएदारी आवास नीति एक संस्था का गठन जल्द करेगी। आवास नीति 2021 प्रारूप का प्रकाशन किया गया है। नीति के अनुसार किराए पर दी जाने वाली संपत्ति के रजिस्ट्रेशन के लिए शहर में प्राधिकारी कार्यालय होगा। किरायेदारी न्यायालय का भी गठन किया जाएगा। जहां से विवाद को सुलझाने के साथ किराए की संपत्ति का रजिस्ट्रेशन हो सकेगा।
इसके किराएदारी आवास को बढ़ावा देने के लिए आवास नीति, कॉलोनाइजर एक्ट, हाउसिंग फॉर आॅल में सस्ते किराया आवास भी शामिल किया गया है। वहीं कॉर्पोरेट सोशल रिस्पॉसिबिलिटी सीएसआर से भी किराये से आवास निर्माण किया जा सकेंगे।
मकान संपत्ति मालिक और ब्रोकरों को पंजीयन कराने शुल्क नहीं लगेगा। मकान मालिक और किरायेदार के बीच अनुबंधों के स्टाम्प शुल्क में छूट दी जाएगी। राष्टÑीय संकट के समय मकान मालिक किरायेदार को बाहर नहीं कर सकेंगे। लंबे समय से किराये पर चल रही संपत्तियों के विवाद और किराया बढ़ाने के संबंध में विवाद भी ट्रिब्यूनल सुलझाएगा।
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