मंत्री-विधायक से मिले व्यापारी, बोले... यह कैसा अनलॉक


भोपाल
शनिवार-रविवार लॉकडाउन के बाद आज सुबह जब शहर अनलॉक हुआ तो लोगों की आवाजाही शुरू हुई। शहर के बाजारों पर सख्ती के कारण पहले जैसी चहल पहल नहीं थी, लेकिन प्रशासन ने सावधानियों का दौर जारी रखने का फैसला लिया है। इसके चलते अधिक लोगों को बेवजह मूवमेंट करने की परमीशन नहीं दी गई है और शहर के चौराहों पर पुलिस का पहरा लगा हुआ है।

शहर में सैलून, ब्यूटी पार्लर, फर्नीचर की दुकानों को खोलने को लेकर अभी असमंजस की स्थिति बनी हुई है। इसको लेकर अभी कोई निर्णय नहीं हुआ है। वहीं जिम, स्विमिंग पूल अभी बंद रहेंगे। शादी समारोह 20 लोगों की उपस्थिति में हो सकेंगे। मैरिज गार्डन में शादियां हो सकेंगी, लेकिन बारात निकालने को लेकर अभी स्थिति स्पष्ट नहीं है।

अनलॉक शहर में किराना, फल, सब्जी, आटा चक्की की सभी दुकानें रात 8 बजे तक खुल सकेंगी। स्टेशनरी, इलेक्ट्रिकल, बिल्डिंग, मटेरियल, नमकीन-मिठाई की दुकान शाम 6 बजे तक खुल सकेंगी। सब्जी की दुकानें खुल सकेंगी, लेकिन हाट-बाजार नहीं लगेंगे। पूरे जिले में रात 8 बजे से सुबह 6 बजे तक नाइट कर्फ्यू रहेगा। हर शनिवार और रविवार को जनता कर्फ्यू रहेगा।

गोविंदपुरा स्थित स्मार्ट सिटी कार्यालय में आज दोपहर 2 बजे जिला प्रशासन के अफसर और शहर के व्यापारियों के बीच बाजारों से प्रतिबंध कम करने को लेकर बैठक आयोजित की गई है। इस बैठक में संभवता गहमा गेहमी का माहौल बन सकता है। व्यापारी बैठक में अपने सुझाव प्रशासन के आला अधिकारियों के सामने रखेंगे। वहीं दूसरी तरफ प्रशासन भी कोरोना की तीसरी लहर को ध्यान में रखकर प्रतिबंध में छूट देगा। दोनों के बीच में क्या निर्णय होता है। यह चर्चा के समाप्त होने के बाद पता चलेगा। व्यापारियों का कहना है कि लॉकडाउन के कारण सभी का व्यापार चौपट हो गया है। अब बाजारों को खोला जाए।

शनिवार-रविवार लॉकडाउन रखा जाता है। तो सोमवार से लेकर शुक्रवार तक बाजार सुबह 10 बजे से रात 9 बजे तक खोले जाएं।  शहर के कपड़ा व्यापारियों में बंद को लेकर आक्रोश बरकरार है। उनका कहना है शादी ब्याह का आधे से अधिक सीजन निकल गया है, लेकिन हमको दुकानें खोलने कीपरमीशन नहीं दी गई है। इनके साथ ही जूता, ज्वैलरी, बर्तन और मोबाइल की दुकानदारों  में असंतोष है। आज प्रशासन के साथ दोपहर बाद इन व्यापारियों की मीटिंग रखी गई है, जिसमें इन लोगों को कितनी राहत दी जाए, इस पर विचार विमर्श किया जाएगा।

उधर लो-फ्लोर में यात्रा करने वाले यात्रियों को आज सुबह खासी परेशानी का सामना करना पड़ा। यात्री सुबह बसों का घंटों इंतजार करते रहे, लेकिन एक समय तक इंतजार करने के बाद जब बसें नहीं आई तो यात्रियों को अपने ज्ञांतव्य तक पहुंचने के लिए लोगों से लिफ्ट मांगनी पड़ी। कुछ लोगों ने अपने परिजनों को बुलाकर अपने दफ्तर पहुंचे। सोमवार वर्किंड डे के कारण बसों में यात्रा करने वाले यात्रियों की संख्या अधिक होती है। इसके चलते यात्रियों को काफी दिक्कत हुई। बसों के पहियों के थमने की वजह बस आॅपरेटरों के लगभग 6 करोड़ के पुराने पेमेंट को लेकर बताई जा रही है।

लो-फ्लोर बसों का संचालन श्री दुर्गम्बा, अनन्ता पदमाभना मोटर्स और जॉपहॉप टेक्नालॉजीस कर रहा है। पुराने भुगतान को लेकर पिछले लॉकडाउन में भी बस आॅपरेटर भोपाल सिटी लिंक लिमिटेड बीसीएलएल पर दबाव बना चुके हैं। इस मामले को लेकर बीसीएलएल और बस आॅपरेटरों के बीच लंबे समय से खींचतान चल रही है। इस कारण आज सुबह बसों का संचालन समय पर नहीं हुआ।

बसें सुबह 8 बजे के बजाए सुबह 11 बजे सड़क पर निकली। कंपनी के पीआरओ संजय सोनी ने बताया कि तीनों आॅपरेटों से बात करने के बाद बसें चलाई गर्इं।

The Naradmuni Desk

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